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नयी प्रतिभाओं को मंच प्रदान करना और उत्कृष्ट कार्य करने और उपलब्धियां हासिल करने वाले कलाकारों को सम्मानित करना समाज और राज्य दोनों का कर्तव्य है।

‘अवध फेस्टिवल’ और वाद-विवाद प्रतियोगिता का आयोजन अभिजीत, तलत, पलक, प्रतिभा और पारुल आएंगे राजधानी

नयी प्रतिभाओं को मंच प्रदान करना और उत्कृष्ट कार्य करने और उपलब्धियां हासिल करने वाले कलाकारों को सम्मानित करना समाज और राज्य दोनों का कर्तव्य है। बुद्धि कुंद करने वाली इंटरनेट अपसंस्कृति के इस दौर में मौलिक सोच और वैचारिक उपादेयता वाले कार्यक्रम स्कूल कॉलेजों और स्वयंसेवी संस्थाओं को क्रमबद्ध रूप में करने ही चाहिए।’

हुनर क्रिएशन्स क्राफ्ट एसोसिएशन की ओर से यहां होटल रिनेसां गोमतीनगर में आयोजनकर्ताओं की बैठक में उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने उक्त विचार व्यक्त किये। बैठक में एसोसिएशन की सोच, कार्य और आयोजनों की सराहना करते हुए उन्होंने कहा कि हुनर क्रिएशन्स क्राफ्ट एसोसिएशन के साथ अमजद अली खां, शिवकुमार शर्मा, हेमा मालिनी, रेखा भारद्वाज, सोनू निगम जैसे विश्वविख्यात कलाकारों का जुड़ाव रहा है और वे सम्मानित हुए हैं और अब अभिजीत भट्टाचार्य, तलत अजीज, पलक मुच्छल, प्रतिभा सिंह बघेल व पारुल मिश्रा जैसे कई कलाकार जुड़ने जा रहे हैं। एसोसिएशन द्वारा पहल करते हुए वाद-विवाद प्रतियोगिता के लिए जो विषय चयनित किये गये हैं, वे विद्यार्थियों को केन्द्र व राज्य सरकार की मंशा के अनुरूप स्वच्छ और विकसित राष्ट्र बनाने की दिशा में प्रेरित करेंगे। अवध की संस्कृति एक-दो सदियों से नहीं, पौराणिक काल से विश्व में जानी जाती रही है और एसोसिएशन की पूर्व की गतिविधियां यह बताती हैं कि ये प्रतियोगिताएं व ‘अवध फेस्टिवल’ यहां की वास्तविक संस्कृति को व्यापक स्तर पर प्रसारित करने में एक और उल्लेखनीय कदम होगा।

एसोसिएशन की ओर से संयोजक जफर नबी ने बताया कि कला व संस्कृति के उन्नयन के लिये सतत् प्रयत्नशील हुनर क्रिएशन्स क्राफ्ट एसोसिएशन कला जगत के उत्कृष्ट कार्य करने वाले को सम्मान और बाल व युवा प्रतिभाओं को मंच प्रदान करने के मकसद से दो चरणों में वाद-विवाद प्रतियोगिता और अवध फेस्टिवल का आयोजन कर रही है। राजधानी के 25 चुने हुए विद्यालयों में कक्षा छह से 12 तक के विद्यार्थियों के लिए विकास के लिए हिन्दी या अंग्रेज़ी माध्यम में स्वच्छ पर्यावरण लागत नहीं अच्छा निवेश है, अच्छा पर्यावरण सुनिश्चित करने के लिए यह अच्छा अर्थशास्त्र है, पर्यटन आर्थिक विकास के साथ बहुवादी संस्कृति को भी बढ़ावा देता है और पर्यटन संस्कृति की कीमत पर नहीं; इन चार विषयों पर शीघ्र ही पहले चरण में सुविधानुसार विद्यालय स्तर पर फिर फौरन ही अंतिम चरण में प्रतियोगिता होगी और विजेताओं को स्मृतिचिह्न, प्रमाणपत्र व नगद पुरस्कार देकर सम्मानित किया जायेगा।

अवध की संस्कृति और गौरव को रेखांकित करने वाले अवध फेस्टिवल के सम्बंध में श्री नबी ने बताया कि कोरोना काल से पहले पिछला आयोजन महात्मा गांधी की डेढ़ सौवीं जयंती को समर्पित था, इस वर्ष का अवध फेस्टिवल आजादी का अमृत महोत्सव थीम पर यहां छावनी के सूर्या प्रेक्षागृह में होगा। यहां कथक और दास्तानगोई के संग कलाप्रेमी अभिजीत भट्टाचार्य, तलत अजीज, पलक मुच्छल, प्रतिभा सिंह बघेल व पारुल मिश्रा जैसे सम्मानित होने वाले कई कलाकारों के हुनर से साक्षात्कार कर सकेंगे। फेस्टिवल में अतिथियों के तौर पर अनेक कलाकारों के साथ कई सुप्रसिद्ध हस्तियों को आमंत्रित किया जा रहा है। बैठक में पूर्व मुख्य सचिव आलोक रंजन, पूर्व प्रशासनिक अधिकारी जी-पटनायक व अरुण सिन्हा के संग प्रो.अरविन्द मोहन, डा.जावेद आलम खां ने भी विचार रखे। साथ ही लगभग 25 विद्यालयों के प्रधानाचार्य बैठक में सम्मिलित हुए।

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